Dard Shayari With Images
हमनें जब किया दर्द-ए-दिल बयां तो शेर बन गया
लोगों ने सुना तो वाह वाह किया दर्द और बढ़ गया
मोहब्बत की पाक रूह मेरे साँसों में है
ख़त लिखा जब गम कम करने के लिए तो गम और बढ़ गया
दर्द अब इतना की संभलता नही है
तेरा दिल मेरे दिल से मिलता नही है
अब और किस तरह पुकारूँ मैं तुम्हे
तेरा दिल तो मेरे दिल की सुनता भी नही है
आरज़ू यह नहीं कि ग़म का तूफ़ान टल जाये
फ़िक्र तो यह है कि कहीं आपका दिल न बदल जाये
कभी मुझको अगर भुलाना चाहो तो
दर्द इतना देना कि मेरा दम निकल जाये
यह ग़ज़लों की दुनिया भी अजीब है
यहाँ आँसुओं का भी जाम बनाया जाता है
कह भी देते हैं अगर दर्द-ए-दिल की दास्तान
फिर भी वाह-वाह ही पुकारा जाता है
दर्द शायरी लव
बात करनी थी बात कौन करे
दर्द से दो-दो हाथ कौन करे
हम सितारे तुम्हें बुलाते हैं
चाँद न हो तो रात कौन करे
मोहब्बत करने वालों का यही हश्र होता है
दर्द-ए-दिल होता है, दर्द-ए-जिगर होता है
बंद होंठ कुछ ना कुछ गुनगुनाते ही रहते हैं
खामोश निगाहों का भी गहरा असर होता है
रूठ कर हमसे सदा के लिए जाने वाले
बेवज़ह बेसबब ही दिल को दुखाने वाले
मेरी मजबूरियों को अगर कभी समझा होता
मेरे सीने से लिपट जाता रुलाने वाले
चलते हैं अंगारों पर ओढ़े चादर इश्क़ की
थाम लेते हैं पलको पर अश्क-ए-तूफान को
सुलगते हैं दर्द -ए-दिल में लिए याद महबूब की
आंसूओं में ना बहाते रिसते हुए जख्म को
हम तो उसको ही समझते हैं दर्द-ए-दिल
वो जो बेवफाई भी दे तो आँचल भर लो
जाके दम तोड़े भी तो उसकी बाहों मे
उसे उम्मीद की लहरों का साहिल कर लो
ज़हर की चुटकी ही मिल जाए बराए दर्द-ए-दिल
कुछ न कुछ तो चाहिए बाबा दवा-ए-दर्द-ए-दिल
रात को आराम से हूँ मैं न दिन को चैन से
हाए ऐ वहशते दिल, हाए हाए दर्द-ए-दिल
Dard Shayari In Hindi
मुझे दर्द-ए-दिल का पता न था
मुझे आप किसलिए मिल गए
मैं अकेले यूँ ही मजे में था
मुझे आप किसलिए मिल गए
दर्द का साज़ दे रहा हूँ तुम्हे
दिल का हर राज़ दे रहा हूँ तुम्हे
ये गज़ल-गीत सब बहाने हैं
मैं तो आवाज़ दे रहा हूँ तुम्हे
दर्द-ए-दिल जुदाई सहना आहसान नही होता
कीमती चीज़ का हर कोई काबिल नही होता
यह तो रब की मेहेरबानी है
वरना दोस्त हर किसी के नसीब मैं नही होता
दर्द ए दिल को सीने में छुपाना आ गया
मचलती हसरतों को अब दबाना आ गया
ना रखता हूँ उम्मीद ए वफा एहले जहाँ में
हसीन चेहरों से नकाब हमें उठाना आ गया
ना तस्वीर है उसकी जो दिदार किया जाऐ
ना पास है वो जो उससे प्यार किया जाऐ
ये कैसा दर्द दिया उस बेदर्द ने
ना उससे कुछ कहा जाऐ
ना उसके बिन रहा जाऐ
2 Line Dard Shayari
अचानक एक हमदर्द मिला
फिर उसी से हर दर्द मिला
क्यों एक दिल को दूसरे दिल की खबर ना हो
वो दर्द ए इश्क ही क्या जो इधर हो उधर ना हो
देख लिया हमने हर बार हर दफ़ा कर के
बस दर्द-ए-दिल ही पाया है वफ़ा कर के
वही ज़िद वही हसरत ना दर्द ए दिल में कमी हुई
अजीब है मेरी मोहब्बत ना मिल सकी ना खत्म हुई
क्यों एक दिल को दूसरे दिल की खबर ना हो
वो दर्द ए इश्क ही क्या जो इधर हो उधर ना हो
उम्र भर ये मेरे दिल को तडपायेगा
दर्द-ए-दिल अब मेरे साथ ही जायेगा
अपने दिल के दर्द सभी मैं ग़ज़लों में कह लेती हूँ
वो मुझको पढ़ लेता है तो मैं ज़िंदा रह लेती हूँ
दर्द दिलो के कम हो जाते
फोन अगर बन्द हो जाते
दर्द-ए-दिल का इलाज़ कोई हक़ीम कर न पाया
कुछ ऐसे ज़ख़्म मिले ज़िन्दगी से जिन्हे वक़्त भी भर न पाया
नजरे बिछाकर मै तुम्हें यूँ हीं देखती रहुँ
जो दर्द छुपा रहे हो वो मै सहती रहुँ
कौन से लफ्ज़ में मैं दर्द की सदा लिखूं
किस तरह मैं अपने ही दिल को बेवफा लिखूं
हैं दर्द सीने में मगर होंठों पे जज़्बात नहीं आते
आखिर क्यों वापिस वो बीते हुए लम्हात नहीं आते
Dard Shayari 2 Line
दर्द की शाम है, आँखों में नमी है
हर सांस कह रही है फिर तेरी कमी है
हर घड़ी इक नया हादसा हो गया
दर्द-ए-दिल यूँ बढ़ा ख़ुद दवा हो गया
दर्द-ए-दिल, दर्द-ए-जिगर दिल में जगाया आपने
पहले तो मैं, शायर था, आशिक़ बनाया आपने
जाने क्यों लोग मोहब्बत किया करते हैं
दिल के बदले दर्द-ए-दिल लिया करते हैं
कोई दर्द या ख़ुशियों का ख़ज़ाना ढूँढो
दिल के बहलाने को कोई तो बहाना ढूँढो
दर्द-ए-दिल को ताब आ जाए
जिसमे तुम हो काश कहीं से वो ख़्वाब आ जाए
किसी के काम जो आये उसे इंसान कहते है
पराया दर्द अपनाये उसे इंसान कहते है
महफ़िल में कर रहा था वो ग़ैरों से दिल्लगी
अंदाज़े गिला यार का कितना था दिलनशीं
दर्द लेंगे ना हम दवा लेंगे
अपने हिस्से की कुछ सजा लेंगे
Dardnak Shayari
तुम्हे क्या पता किस दर्द मे हूँ मैं
जो लिया नही उस कर्ज मे हूँ मैं
लिखु क्या आज वक्त का तकाजा हेैं
दर्द-ए-दिल अभी ताजा हैं
ये कलम भी कमबख्त बहुत दिलजली हैं
जब जब भी मुझे दर्द हुआ ये खूब चली हैं
दर्द-ए दिल भी न किसी से कह सके
और आह भी न हम दबी रख सके
हम पर सौ जुल्म-ओ-सितम किजिये
बस एक बार मिलकर दर्द-ए-दिल की दवा किजिये
मुझको ढूंढ लेती है रोज किसी बहानें से
दर्द भी वाकिफ हो गया है मेरे हर ठिकानें से
जहर देता हैं कोई कोई दवा देता हैं
जो भी मिलता हैं मेरा दर्द बढ़ा देता हैं
दिल-ए-नादां तुझे हुआ क्या है
आख़िर इस दर्द की दवा क्या है
इश्क की चोट का कुछ दिल पर असर हो तो सही
दर्द कम हो या ज्यादा हो मगर हो तो सही
Dard Shayari For Love
एक तरफ प्यार हमे करते हो
एक तरफ रूलाते क्यूँ हो
मेरे दर्द-ए-दिल के अफसाने पर
मुस्कुराते क्यूँ हो
हम वो धड़कन है जो सबके दिल में रहते है
बढ़ जाये तो दर्द देते है
और कम हो जाये तो जान ले लेते है
उनकी फ़ितरत है वो दर्द देने की
रस्म अदा कर रहे है
हम भी उसूलो के पक्के है
दर्द सहकर भी वफ़ा कर रहे है
इलाजे-दर्दे-दिल तुमसे
मसीहा हो नहीं सकता
तुम अच्छा कर नहीं सकते
मैं अच्छा हो नहीं सकता
एक दर्द छुपा हो सीने में
तो मुस्कान अधूरी लगती है
जाने क्यों बिन तेरे मुझको
हर शाम अधूरी लगती है
साथ रहते रहते मुद्दत हो गयी
इसीलिए
दर्द को दिल से महोब्बत हो गयी
ज़मीन है हम यह आसमान तुम्हारा है
दिन है सभी का पर यह शाम तुम्हारा है
पत्थरों की मूरत में दब गयी है ज़िंदगी मेरी
Shayari Dard E Dil
मुझे दर्द-ए-ईश्क का मजा मालुम है
दर्द -ए-दिल की इंतहा मालुम है
मुस्कुराने की दुआ न दो पल भर मुस्कुराने
की सजा मालुम है
तेरे हिसाब से अब और दिखा न जाएगा
ज़ख्म अब नासूर बन गए हैं ज़िन्दगी
मुझसे अब दर्द-ए-दिल और लिखा न जाएगा
पहले इश्क़, फिर दर्द, फिर बेहद नफरत
बड़ी तरकीब से तबाह किया तुमने मुझको
मत कर कोशिशे मेरे अजीज मेरे दर्द को समझने की
तू इश्क कर फिर चोट खा फिर लिख दवा मेरे दर्द की
सुना था दर्द का एहसास अपनों को होता है
पर जब दर्द ही अपने दे तो एहसास कौन करें
जब दर्द हो दिल मे
तो दवा कीजे अगर
दिल ही दर्द हो तो फिर क्या कीजिए
मैं क्या जानूँ दर्द की कीमत
मेरे अपने मुझे मुफ्त में देते हैं
सुनसान सी लग रही है ये शायरों की बस्ती
क्या किसी के दिल में दर्द नहीं रहा?
बेताब मै ही नही दर्द-ए-जुदाई की कसम
रोते तुम भी होंगे करवट बदल बदलकर
Dard Wali Shayari
नफरत की बिसात पर मोहब्बत की हसरतों नाकाम होती रही
दर्द ए दिल में कसक जिंदगी किसी मासूम की
लम्हा दर लम्हा गुलजार होती गई
हल्का हल्का सा दर्द ए दिल
हल्की हल्की ये ठंडी हवाएँ
तुम्हारा यादों में आने का
अंदाज ही अलग है
तकलीफ ये नहीं कि
तुम्हें अजीज़ कोई और है
दर्द तब हुआ
जब हम नज़र अंदाज़ किए गए
कमाल का जिगर रखते है कुछ लोग
दर्द पढ़ते है और आह तक नहीं करते
किसी से कभी कोई उम्मीद मत रखना
क्योंकि उम्मीद हमेशा दर्द देती है
आज दर्द ने इन्विटेशन दिया हैं
अब तो शूट-बूट में जाएंगे हम
तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल में एक बार
दर्द हो तो समझ लेना मुहब्बत अभी बाकी है
बच्चे को जब तकलीफ होती है तो
दर्द सिर्फ माँ को होता है
हमने हँसते हुए कहा, पता नहीं
कुछ अपने मुफ्त में दे जाते हैं
इश्क चख लिया था इत्तफ़ाक से
ज़बान पर आज भी दर्द के छाले हैं
Shayari Dard Bhari Zindagi Hindi
तुझसे नराज़ नहीं ज़िन्दगी
बस खुद से खफा हैं
जी रहे हैं बिन तमन्ना
शायद ये ही दर्द ए दिल की दवा हैं
जुदाइयों के ज़ख़्म दर्द-ए-ज़िंदगी ने भर दिए
तुझे भी नींद आ गई मुझे भी सब्र आ गया
किसी के दर्द की दवा बनो
जख्म तो हर इन्सान देता है
बुरा कैसे बन गया साहब
दर्द लिखता हुँ किसी को देता तो नही
काश दर्द तेरे भी पैर होते
कहीं थक के रुकते तो सही
अजीब सकूँन मिलता है किसी के दिल को दर्द देकर
जालिम बेहतर होता तुम्हे इस दर्द का एहसास होता
नासमझ तो वो ना थे इतना
के प्यार को हमारे समझ ना सके
बस दर्द अश्क तन्हाई और तड़प
क्या करेगी मौत मेरी जिंदगी लेकर
ज़िंदगी मे सबसे ज़्यादा दर्द
दिल टूटने पर नही
यकीन टूटने पर होता हैं
सुना था दर्द का अहसास तो
चाहने वालों को होता है
जब दर्द ही चाहने वाले दें तो
एहसास कौन करेगा
Dard Shayari Status
माना इसमें दर्द ही दर्द है
मगर दिल से सोचें तो मोहब्बत
क्या खूबसूरत लफ्ज़ है
ना रोक कलम मुझे दर्द लिखने दे
आज तो दर्द रोयेगा या दर्द देने वाला
वही रंज़िश, वही हसरत, वही चाहत
ना ही दर्द –ए– दिल में कमी हुई
अज़ीब सी है मेरी ज़िन्दगी ए शीन
ना गुज़र ही सकी ना खत्म हुई
बज़्म -ए- वफा मैं हमारी गरीबी ना पूछ
एक दर्द -ए- दिल है वो भी किसी अज़ीज़ का दिया हुआ
कौन हमारे दर्द को समझा किसने गम मे साथ दिया
कहने को साथ हमारे तुम क्या एक ज़माना था
ज़िस्म-ए-दामन में पहले ही दर्द कम ना थे
कुछ और मुनाफ़ा कर गए जो हमदर्द थे
दर्द बनकर ही रह जाओ हमारे साथ
सुना है दर्द बहुत वक़्त तक साथ रहता है
किस्मत के तराज़ू में तोलो तो फ़कीर हैं
हम और दर्द-ए-दिल में हम सा कोई नहीं
किसी ने यूँ ही पूछ लिया हमसे कि
दर्द की कीमत क्या है
हल्की हल्की सी सर्द हवा
जरा जरा सा दर्द-ए-दिल
अंदाज अच्छा है ए
नवम्बर तेरे आने का
Dard Shayari Sad
अभी से क्यों छलक आये तुम्हारी आँख में आंसू
अभी तो छेड़ी ही कहा हे दर्द-ए-दिल की दास्तान हमने
तुम्हारे पैरो में
दर्द नहीं होता क्या
सारा दिन मेरे ख्यालों में
घूमती रहती हो
इतना भी दर्द ना दे
ऐ ज़िन्दगी प्यार ही किया था
किसी का क़त्ल नहीं
आया था एक शख्स मेरा दर्द बाँटने
रुखसत हुआ तो अपना भी गम दे गया मुझे
माँ ने अपने दर्द भरे खत में लिखा
सड़के पक्की है अब तो गाँव आया कर
मुझे महसूस हुआ दर्द ए जुदाई क्या
मैने एक फूल जो टहनी से बिछड्ते देखा
खामोशी बेसबब नहीं होती
दर्द आवाज छीन लेता है
ज़ख्म ताज़ा हैं अभी
यूँ न लगाओ मरहम
दर्द बढ़ जाता है
कुछ और भी सहलाने से
दर्द मुफ्त में ही मिलता है साहब इस जवाने में
यही एक चीज है जिसकी कीमत यहाँ कोई नही लेता
रात इकाई नींद दुहाई
ख्वाब सैकडा दर्द हजार
इसी ख्याल से गुज़री है
शाम-ए-दर्द अक्सर
कि दर्द हद से जो गुज़रेगा
मुस्कुरा दूंगा
शिद्दते दर्द में ना आई कोई भी कमी
दर्द फिर दर्द रहा उल्टा लिखा सीधा लिखा
मेरे हर एक मर्ज की उसके पास हैं
दवा मिलते ही उससे हर दर्द हो जाता है हवा
Dard Shayari In Hindi For Girlfriend
प्यार में दर्द भी मिले तो मत घबराना
सुना है दर्द से चाहत और जवान होती है
मेरे यार को मेरी तकलीफ और दर्द से
कभी कुछ फर्क ही नहीं पड़ा
मैं बेवकूफ की तरह खुद को तड़पा रहा हूं
उसकी जुदाई को लफ़्ज़ों में कैसे बयान करें
वो रहती दिल में धडकती दर्द में और बहती अश्क में
इतना दर्द तो मौत भी नहीं देती है
जितना तेरी ख़ामोशी ने दिया है
किन लफ़्ज़ों में बंया करूँ दर्द-ए-दिल को मैं
सुनने वाले तो बहुत हैं समझने वाला कोई नही
जब जब मैने दर्द लिखा
शब्दो ने मेरे हाथ पकड़ लिए
एक ही ज़ख़्म नही
पूरा वजूद ही ज़ख़्मी है
दर्द भी हैरान है
आख़िर कहां कहां से उठे
सुनो डॉक्टर्स एक इश्क का इंजेक्शन
हमे भी लगा दो
उसके इश्क मे दर्द
बहुत होता है
ये मीठा मीठा दर्द हैं ये मीठी मीठी प्यास हैं
तेरे इश्क़ का ये कैसी आस हैं
प्यार से भी गहरा हैं शराब का नशा
इसे दर्द में पीने पर ही हैं, असली मज़ा
Dard E Shayari
हिचकियाँ रात दर्द तन्हाई
आ भी जाओ तसल्लियाँ दे दो
तकलीफ ये नहीं कि तुम्हें अजीज़ कोई और है
दर्द तब हुआ जब हम नज़र अंदाज़ किए गए
रोज़ पिलाता हूँ
एक ज़हर का प्याला उसे
एक दर्द जो दिल में है
मरता ही नहीं है
अजीब किस्म का शायर हूँ मैं भी यारो
सिर्फ एक वाह के लिये कई दर्द सुना देता हूँ
गिर पड़े हें आँसू मेरे कागज पे लिखते वक्त
लगता हें कलम में स्याही कम दिल में दर्द ज्यादा हैं
जिक्र उस का ही सही बज़्म में बैठे हो फ़राज़
दर्द कैसा भी उठे हाथ न दिल पर रखना
दर्द ए दिल की आह तुम न समझोगे कभी
हर दर्द का मातम सरेआम नहीं होता
दर्द देने का तुझे भी शौक़ था बहुत
और देख हमने भी सहने की इन्तेहा कर दी
बेनाम आरजू की वजह ना पूछिए
कोई अजनबी था रूह का दर्द बन गया
ताबींजो मे क्या पू़ंछू इलाज दर्द -ए -दिल का
मंर्जं जब ज़िंदगी खुद हो तो दुआ कैसी दवा कैसी
ना किया कर अपने दर्द-ए-दिल को शायरी में बयां
लोग और टूट जाते है
हर लफ़्ज को अपनी दांस्तान समझकर
Dard Zindagi Shayari
उसने होंठों को अपने दांत में दबा के
मुझसे कहा
मैं दबाऊं तो दर्द क्यों
तुम दबाओ तो लुत्फ़ क्यों
वो लिखती रही
कागज पे अपना दर्द ए दिल
किसी को उसे पढ़कर
उससे इश्क हो गया
इश्क़ ने जब माँगा खुदा से दर्द का हिसाब
वो बोले हुस्न वाले ऐसे ही बेवफाई किया करते हैं
पेश किया दर्द-ए-दिल हमने नगमों मे
उसे भी वो सिर्फ शेर समझ बैठे
आते जाते रहा कर ए दर्द
तू तो मेरा बचपन का साथी है
कोई हमदर्द ना
कोई भी दर्द ना था
आज उसने एक बात कहकर मुझे रूला दिया
जब दर्द बरदाश नही कर सकते तो मोहब्बत क्यों की
गर लफ्ज़ों में कर सकते बयान इंतेहा-ए-दर्द-ए-दिल
लाख तेरा दिल पत्थर का सही कब का मोम कर देते
लोग कहते है हम मुस्कराते बहुत है
और हम थक गए दर्द छुपाते छुपाते
सुना था दर्द अक्सर बेदर्द लोग देते है
मगर हमारी दुनिया उजाड़ी है एक मासूम चेहरे ने
मुझे क़ुबूल है तेरी चाहत में
हर दर्द, हर तक़लीफ़
क्या तुझे क़ुबूल है मुहब्बत मेरी
क़ाश कोई ऐसा हो
जो गले लगा कर कहे
तेरे दर्द से
मुझे भी तकलीफ होती है
जख्म खरीद लाया हूँ बाजार-ए-दर्द से
दिल जिद कर रहा था मुझे मोहब्बत चाहिए
Painful Hindi Quotes
कुछ दर्द कुछ नमी कुछ बातें जुदाई की
गुजर गया ख्यालों से तेरी याद का मौसम
सुकून की तलाश में निकले हम
तो दर्द बोला औकात भूल गए क्या
क्योंकि उदास दिलों को
हमदर्द तो मिलते हैं हमसफ़र नहीं
एक नफरत ही नहीं दुनिया में
दर्द का सबब फ़राज़
मोहब्बत भी सकूँ वालों को
बड़ी तकलीफ़ देती है
मुझे रुलाने की कोशिश भी मत करना
मेरी परवरिश ही दर्द ने की है
आज उसने एक और दर्द दिया
तो हमें याद आया
कि दुआओं में हमने ही तो
उसके सारे दर्द खुदा से माँगे थे
जिंदगी की राहों में
मुस्कराते रहो हमेशा
दर्द की चाहत किसे होती है मेरे यारो
ये तो मोहब्बत के साथ मुफ़्त में मिलता है
चलो छोड़ो तुम्हें क्या बताना
मोहब्बत के दर्द को
जान जाओगे तो जान से जाओगे
किस्मत के तराज़ू में तोलो,तो फ़कीर हैं
हम और दर्द-ए-दिल में, हम सा कोई नहीं
तकलीफ ये नही की उंन्हे अजीज कोई और है
दर्द तब हुआ जब हम नजरअंदाज किये गये
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